सैन्याभ्यास के दौरान बीएसएफ का जवान शहीद, दो अन्य जवान घायल, 4 दिन में दूसरा हादसा

BSF Jawan Martyr

जोधपुर। भारत-पाक अंतरराष्ट्रीय सीमा पर स्थित जैसलमेर जिले में सेना की पोकरण फायरिंग रेंज में अभ्यास के दौरान एक हादसा हो गया। यहां 105 एमएम गन (तोप) से गोले दागते समय बैरल फट गया। इस हादसे में बीएसएफ का एक जवान शहीद हो गया। वहीं दो अन्य जवान घायल हो गए। उन्हें जोधपुर रैफर किया गया है। शहीद हुआ जवान उत्तर प्रदेश का रहने वाला था। बीएसएफ ने हादसे की जांच के आदेश दिए हैं।

बता दे कि पिछले 4 दिन में पोकरण में 105 एमएम गन से यह दूसरा हादसा हुआ है। बीते दिनों हुए हादसे में गन की बैरल फटने से एक जवान जख्मी हो गया था। सैन्य सूत्रों के मुताबिक बीएसएफ इन दिनों सेना की पोकरण स्थित फायरिंग रेंज में अभ्यास कर रही है। सीमा के पास किशनगढ़ में बीएसएफ की खुद की फायरिंग रेंज है लेकिन 105 एमएम गन की रेंज 17 किलोमीटर होने के कारण इससे गोले दागने का अभ्यास बड़ी फायरिंग रेंज पोकरण में किया जा रहा है। मंगलवार रात को बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स की 1077 रेजिमेंट की टुकड़ी अभ्यास करने में व्यस्त थी।

इसी दौरान 105 एमएम गन का बैरल अचानक फट गया। बताया गया है कि गन से गोला दागते ही यह दूर जाने की बजाय बाहर निकलते ही फट गया। इससे कुछ जवान घायल हो गए। उनको तत्काल पोकरण अस्पताल ले जाया गया। वहां जवान सतीश कुमार को चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। वह उत्तर प्रदेश का रहने वाला था। वहीं अन्य घायल जवानों आबिद अली और महेशचंद्र को प्राथमिक उपचार देने के बाद जोधपुर स्थित मिलिट्री हॉस्पिटल के लिए रैेफर कर दिया गया। इनकी हालत खतरे से बाहर है।

बता दे कि बीएसएफ के पास 140 एमएम गन है। 7 आर्टिलरी रेजिमेंट इनका इस्तेमाल करती हैं। सिर्फ इस गन से युद्ध नहीं लड़ा जा सकता, लेकिन दुश्मन के किसी हमले को रोकने में यह काफी मददगार साबित होती है। आर्मामेंट रिसर्च एंड डेवलपमेंट संस्थान की ओर से विकसित यह गन 17 किलोमीटर तक मार करने में सक्षम है। इन गन को पहाड़ों और रेगिस्तानी इलाकों में समान रूप से उपयोग किया जा सकता है। वजन में हल्की होने के कारण इन्हें हेलिकॉप्टर से लिफ्ट कर किसी भी इलाके में आसानी से पहुंचाया जा सकता है। देश में विकसित इस गन की कई मौकों पर उपयोगिता साबित हो चुकी है। बीएसएफ की ऐसी ज्यादातर गन जम्मू-कश्मीर में तैनात हैं।

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द हरिश्चंद्र स्टाफ
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